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आजमगढ़: संयुक्त किसान मोर्चा के तत्वाधान में विभिन्न किसान, मजदूर, महिला, छात्र संगठनों के प्रतिनिधियों शहीद कुंवर सिंह उद्यान में उपस्थित हुए और बैठक करके आक्रोश मार्च करके जिलाधिकारी के माध्यम से राष्ट्रपति महोदया को ज्ञापन दिया.

ज्ञापन में भारतीय महिला पहलवानों को जंतर-मंतर पर विरोध जारी रखने की अनुमति देने के लिए और सांसद बृजभूषण शरण सिंह की गिरफ्तारी और उनके खिलाफ कानूनी कार्यवाही के लिए दिशा-निर्देश जारी करने की बात की गई.

वक्ताओं ने कहा कि अंतर्राष्ट्रीय खेल आयोजनों में पदक जीतकर देश का नाम रोशन करने वाली जिसमें एक नाबालिग सहित, कई महिला पहलवानों ने BJP सांसद और भारत सरकार

द्वारा मान्यता प्राप्त भारतीय कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष रहे बृजभूषण शरण सिंह पर यौन उत्पीड़न के गंभीर आरोप लगाए हैं. महिला पहलवान देश के किसान-मजदूरों की बेटियां हैं,

देश की गांव की अखाड़ों की माटी में पली-बढ़ी और देश का नाम रोशन की लेकिन उन्हें भी न्याय के लिए सड़कों पर आना पड़ा है. 23 अप्रैल, 2023 से दिल्ली के जंतर-मंतर पर धरना दे रही

महिला पहलवान को न्याय दिलाने के लिए जब केंद्र सरकार जनवरी 2023 में आरोपी सांसद के खिलाफ जांच करने और आवश्यक कदम उठाने के लिए खिलाड़ियों से किए अपने वादे को पूरा करने में विफल रही.

तब खिलाड़ियों को भारत के माननीय सर्वोच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाना पड़ा और माननीय न्यायालय द्वारा मामले की सुनवाई शुरू करने के बाद ही

दिल्ली पुलिस ने बहुत देर से आरोपी बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ 2 प्राथमिकी दर्ज की. दुर्भाग्य से, उसके बाद दिल्ली पुलिस अपने पांव खींच रही है और जांच और अभियोजन को आगे नहीं बढ़ाया गया है.

जब खिलाड़ियों ने अपना विरोध जारी रखा और 28 मई, 2023 को दिल्ली में एक शांतिपूर्ण मार्च निकाला तो दिल्ली पुलिस, जो केन्द्र सरकार के नियंत्रण में है, ने उनके विरोध मार्च का क्रूरता से दमन किया, उन्हें हिरासत में लिया.

उनके खिलाफ FIR दर्ज की और उन्हें जंतर-मंतर पर उनके शांतिपूर्ण विरोध स्थल से हटा दिया. यह पूरी तरह से गलत और अलोकतांत्रिक था.

देश के प्रबुद्ध नागरिक इन घटनाओं से बेहद विचलित हैं. किसान-मजदूरों को पता है कि कुश्ती एक ग्रामीण खेल है और बृजभूषण सिंह की शिकार ज्यादातर लड़कियां ग्रामीण/किसान परिवारों से हैं.

उन्हें चिंता है कि जिन किसानों की बेटियों ने अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर ख्याति प्राप्त करने के लिए बहुत मेहनत करके देश को गौरव दिलाया है, उनके साथ राजनीतिक रूप से

शक्तिशाली लोगों के इशारे पर केंद्र सरकार द्वारा अत्यंत क्रूरता के साथ व्यवहार किया जा रहा है. ऐसे में देश के किसान-मजदूर भारतीय गणराज्य के राष्ट्रपति

महोदया से गुहार लगा रहे हैं कि केंद्र सरकार महिला पहलवानों को दिल्ली के जंतर-मंतर पर अपने धरना जारी रखने की अनुमति दे. महिला पहलवानों के साथ क्रूरता के लिए जिम्मेदार

पुलिस अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की जाए और बृज भूषण सिंह को गिरफ्तार कर, तेजी से चार्ज-शीट दाखिल करने और अभियोजन के लिए उनकी हिरासत में पूछताछ की जाए.

पहलवानों पर बनाये केस रद्द किये जायें. वक्ताओं में दुखहरन राम,का.वेदप्रकाश उपाधयाय,डा.रविंद्रनाथ राय,राजेश आज़ाद,राजनेत यादव, अवधराज यादव, हरिहर, दुलारे, मोहन, रामबृक्ष, फूलमती, रामचेत, ज्ञानमती, सुभागी, प्रभा देवी आदि ने संबोधन किया.

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