पांच अलग-अलग राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनाव को लेकर राजनीतिक दलों में अभी से सियासी पारा चढ़ने लगा है. इसी क्रम में उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव 2022 को लेकर सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी के अध्यक्ष और यूपी के पूर्व कैबिनेट मंत्री ओमप्रकाश राजभर ने कहा है कि-
“2017 के विधानसभा चुनाव में गठबंधन के बाद भाजपा ने उन्हें धोखा दिया है. ऐसे में वह अब किसी भी पार्टी के साथ गठजोड़ नहीं करेंगे. फिर भी भाजपा को हराने के लिए यदि जरूरत पड़ी तो सपा या बसपा के साथ समायोजन बैठा सकते हैं.”
जब ओमप्रकाश राजभर से यह पूछा गया कि 403 विधानसभा सीटों वाले उत्तर प्रदेश में आप की पार्टी के पास मात्र 4 विधायक हैं तो ऐसे में आप कैसे कुछ बड़ा कर पाएंगे?
इसका जवाब देते हुए राजभर ने बताया कि- इतनी कम संख्या होने के बावजूद हमने सदन में हमेशा दलितों, पिछड़ों और वंचितों के हक के लिए आवाज उठाया है.
लखनऊ-ओमप्रकाश राजभर का बड़ा बयान कहा कि बीजेपी मेरे सामने घुटने टेक दिए.इतना ही नही योगी सरकार पर हमलावर होते हुए कहा कि इस बार इनको बांधकर गंगा जी मे फेक दूँगा.बीजेपी को डूबती हुई नईया कहते हुए कहा कि इस पर कोई नही चढ़ेगा.@OmPrakashRajbh6 pic.twitter.com/0rrC9yXLNb
— Journalist Narendra Singh (@narendrannnews) June 15, 2021
यदि मैं भाजपा में रहते हुए उनकी जी हजूरी करता तो पूरे 5 वर्ष तक मंत्री रह सकता था. यहां तक कि अमित शाह ने मुझे डिप्टी सीएम का पद भी ऑफर किया था.
किंतु मुझे न मंत्री पद चाहिए और न डिप्टी सीएम का पोस्ट. मैं केवल अति पिछड़ों के अधिकारों की लड़ाई लड़ना चाहता हूं. यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि भारतीय जनता पार्टी दलितों, पिछड़ों, अति पिछड़ों का वोट तो चाहती है किंतु उनके हित में कोई फैसला लेना नहीं चाहती है.
आज प्रदेश में 21.5 प्रतिशत दलित 19.5% मुस्लिम वोटर्स हैं जो किसी भी राजनीतिक समीकरण को बदलने की कुवत रखते हैं. आगामी विधानसभा चुनाव को लेकर हमने समान
विचारधारा रखने वाले सभी लोगों को निमंत्रण दिया है चाहे आजाद समाज पार्टी के चंद्रशेखर हैं अथवा एआईएमआईएम के असदुद्दीन ओवैसी जितने भी लोग हैं, जो संविधान में यकीन रखते हैं.
समाज के दरिद्र और वंचित लोगों के अधिकारों के पोषक हैं, हम उनके साथ सदैव खड़े रहेंगे. हमारी लड़ाई केवल भाजपा से है भाजपा को हराने के लिए तथा संविधान को बचाने के लिए हम हर तरह की मुहिम को आगे बढ़ाने के लिए तैयार हैं.
जन जागरूकता का ही परिणाम है कि अब उत्तर प्रदेश के लोग भी बेहतर शिक्षा व्यवस्था, उन्नत मेडिकल सिस्टम तथा रोजगार के अवसर पाना चाहते हैं.
मीडिया ने जब राजभर से पीएम मोदी और सीएम योगी के बीच उभरे मतभेदों तथा अयोध्या में बन रहे राम मंदिर ट्रस्ट को जमीन घोटाले के विषय में पूछा तो उन्होंने कहा कि-
“आज भाजपा और देश दोनों पर गुजरातियों की एक टीम ने कब्जा कर लिया है. राम मंदिर के नाम पर घोटाला हो रहा और उस पैसे से भाजपा के नए नए कार्यालय बन रहे हैं.”
राज्यपाल से लेकर गृह मंत्री तथा प्रधानमंत्री यहां तक कि देश के तमाम बड़े संस्थानों में गुजराती लोग ही बिठाए गए हैं. वास्तविकता यह है कि भाजपा और आरएसएस ने राम मंदिर के नाम पर देश के लोगों के साथ धोखा किया जिसका अब परत दर परत खुलासा होता जा रहा है.