मिली सूचना के मुताबिक सीबीआई ने देश के सबसे बड़े बैंकिंग घोटाले का पर्दाफाश किया है. अनेक मीडिया संस्थान इसे बैंकिंग इतिहास का अब तक सबसे बड़ा घोटाला बता रहे हैं.
ऐसा ज्ञात हुआ है कि कथित तौर पर 28 बैंकों के साथ 22,842 करोड रुपए का घोटाला अंजाम दिया गया है.
इस मामले में सीबीआई ने एबीजी शिपयार्ड और उसके तत्कालीन अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक ऋषि कमलेश अग्रवाल सहित अनेक लोगों के
खिलाफ मुकदमा दर्ज किया है और सूरत में स्थित है जो जहाज निर्माण और जहाज की मरम्मत का काम करती है.
इस घोटाले को अप्रैल 2012 से जुलाई 2017 के मध्य अंजाम दिया गया है. सीबीआई के अनुसार फ्रॉड करने वाली दोनों कंपनियां एबीजी शिपयार्ड और एबीजी इंटरनेशनल प्राइवेट लिमिटेड हैं.
यह मुकदमा एसबीआई की अगुवाई वाले बैंकों के एक संघ से कथित रूप में 22,842 को रुपए से अधिक की धोखाधड़ी के संबंध में दर्ज किया गया है.
एफआईआर में पता चला है कि बैंकों ने जिन उद्देश्यों के लिए फंड रिलीज किए उसे पुरा न करके इस धन का प्रयोग किसी और काम के लिए किया गया.
सरकारी बैंक तो यूँ हीं बदनाम है,असलियत में फ्रॉडस्टर बैंक की कैटेगरी देखकर फ्रॉड नहीं करते, उसीका जीवंत उदाहरण है एबीजी शिपयार्ड लिमिटेड का 28 बैंकों/वित्तीय संस्थानों के साथ किया गया ₹22,842करोड़ का फ्रॉड,जिसमें सर्वाधिक आईसीआईसीआई का ₹7,089 करोड़ फँसा हुआ है। #Bankfraud pic.twitter.com/eCra3Gjd0M
— DESI BANKER (@idesibanker) February 12, 2022
इस केस में ऋषि कमलेश अग्रवाल, तत्कालीन एग्जीक्यूटिव डायरेक्टर संथानम मुथुस्वामी, डायरेक्टर्स अश्वनी कुमार, सुशील कुमार अग्रवाल और रवि विमल नेवतिया तथा एक अन्य कंपनी एविजिटर प्राइवेट लिमिटेड के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है.
यह मामला आपराधिक साजिश रचने धोखाधड़ी विश्वास का अपराधिक हनन सहित पद के दुरुपयोग करने को लेकर रजिस्टर हुआ है.