गोरखपुर: ‘विश्व पृथ्वी दिवस’ के अवसर पर अशफाक उल्ला खान प्राणी उद्यान एवं अल्पाइन फाउंडेशन के संयुक्त तत्वावधान में एक संगोष्ठी का आयोजन किया गया.
संगोष्ठी की अध्यक्षता चिड़िया घर के निदेशक डॉ एच. राजा मोहन ने किया, गोष्ठी को संबोधित करते हुए डॉ एच राजा मोहन ने कहा कि
“प्लास्टिक के अंधाधुंध उपयोग से पृथ्वी प्रदूषित हो गयी है और माइक्रो प्लास्टिक के रूप टूटकर हमारे शरीर के अंगो में भी विद्यमान हो गया है. इससे गंभीर बीमारियों का खतरा मंडरा रहा है.”
उन्होंने कहा कि चिड़ियाघर प्रशासन प्लास्टिक पर पूर्ण रुप से प्रतिबंध लगा चुका है.
वरिष्ठ पशु चिकित्सक डा. बी के सिंह ने कहा कि
आप वृक्षारोपण करना ही नहीं बल्कि वृक्षों का संरक्षण भी जरुरी है. उन्होंने कहा कि वृक्ष, धूल और ध्वनि के अवशोषक भी हैं. हर व्यक्ति को कम से कम एक पेड़ अपने जन्मदिन पर जरुर लगाना चाहिए.
पशु चिकित्सक डॉ. योगेश प्रताप सिंह ने कहा कि पर्यावरण संरक्षण के लिए एक जुट होकर प्रयास करने की आवश्यकता है.
कार्यक्रम के दौरान चिड़ियाघर के निदेशक डॉ. एच राजा मोहन एवं पशु चिकित्सक डॉ. योगेश प्रताप सिंह को अल्पाइन फाउंडेशन की ओर से प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया गया.
इस अवसर पर चिड़ियाघर परिसर में पाकड़, बरगद, गूलर नीम, पीपल आदि के वृक्ष लगाए गए. जीव जंतु कल्याण अधिकारी डॉ.अमरनाथ जायसवाल,
अमृता राव, पशु चिकित्सक डॉ. अजित सिंह, पशु प्रेमी ऐश्वर्या पाण्डेय, शशि राय, डॉ.अम्बालिका, कविता राव,
डॉ. वी कश्यप, शिवेन्द्र यादव, फारेस्ट ऑफिसर राजेश कुमार पांडे आदि उपस्थित रहे. गोष्ठी का संचालन डा. अमरनाथ जायसवाल तथा अल्पाइन फाउंडेशन की सचिव अमृता राव ने लोगों के प्रति आभार व्यक्त किया.