गोरखपुर: उत्तर प्रदेश में जब से जीएसटी अधिकारियों ने व्यापारियों के ऊपर चाबुक चलाया है उससे बहुत ही अधिक भयभीत होकर छोटे-बड़े सभी दुकानदारों ने
3 दिनों से अपनी दुकानें बंद कर रखी है. आए दिन प्रदेश के कई चौक-चौराहों पर व्यापारियों का समूह विरोध कर रहा है.
भयग्रस्त व्यापारियों की पीड़ा यह है कि दुकानें बंद होने से भारी आर्थिक नुकसान उठाना पड़ रहा है. विवाह एवं लगन के इस मौके पर जहां दुकानें खुली होनी चाहिए
वहां भयग्रस्त व्यापारियों की दुकानों का शटर गिरा होने के कारण आम उपभोक्ता भी पशोपेश में हैं. गिनती की दुकानें खुली दिख रही हैं, यहां तक कि चाय और किराने की दुकानें भी बंद दिखाई दे रही हैं.
कुछ तो ऐसे दुकानदार हैं जो न तो व्यापारियों की बैठक में शामिल हो रहे हैं और ना ही अपनी दुकान पर. व्यापारी क्यों डरा हुआ है, व्यापारियों ने अपनी दुकानें क्यों बंद कर रखी हैं?
इस मुद्दे पर व्यापारी नेता संतोष अग्रवाल से बात की तो पता चला है कि जीएसटी के अधिकारियों की नियत में खोट है.
उत्तर प्रदेश व्यापारी कल्याण बोर्ड के उपाध्यक्ष पुष्पदंत जैन के नेतृत्व में आज एक बार फिर अग्रवाल भवन अलीनगर में बैठक हुई जिसमें पुष्पदंत जैन ने
समस्त व्यापारी बंधुओं को आश्वस्त किया कि डरने की कतई आवश्यकता नहीं है. उन्होंने इस बात का भी जिक्र किया कि मुख्यमंत्री के प्रवास के दौरान उनसे बातें हुई और उन्होंने यहां तक कहा कि किसी एक ऐसे व्यापारी का नाम बताएं जिसका उत्पीड़न किया गया हो.
मतलब साफ है कि आने वाले समय में कैंप लगाकर व्यापारियों का जीएसटी रजिस्ट्रेशन कराया जाएगा जहां कहीं भी दिक्कत होगी उसका निस्तारण होगा लेकिन व्यापारियों का दोहन कतई नहीं.