महामहिम राष्ट्रपति ‘महोदया’…कुछ तो करिए?: पूर्वांचल गांधी डॉ मल्ल

  • अभी तक पूर्वांचल गांधी ने राष्ट्रपति सहित अनेक जिम्मेदारों को सैकड़ों पत्र लिखा है, कोई जवाब नहीं    

गोरखपुर: जन सरोकारों से जुड़े मुद्दों पर अपनी पैनी नजर रखने वाले पूर्वांचल गांधी डॉ संपूर्णानंद मल्ल ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को पत्र लिखते हुए कहा है कि बेरोजगारी, गरीबी, महंगाई, विषमता, नफरत, भय, बलात्कार, अपराध मैं और अधिक नहीं देख सकता हूँ.

यदि हम जीवन एवं संविधान की रक्षा करना चाहते हैं तो @ऐसा कानून बनायें जिसमें दवा बनाने वाली कंपनी, चिकित्सालय, शिक्षा देने वाले विद्यालय,

रेल एवं दूर संचार केवल सरकारी हों, निजी नहीं. @शिक्षा, चिकित्सा, संचार तीनों ही क्षेत्र पूरी तरह शुल्क रहित एवं गरीब-अमीर सबके लिए एक समान हो.

अपनी बात को आगे बढ़ाते हुए यह भी पूछा कि राष्ट्रपति ‘महोदया’ आखिर हमें गांधी का स्वराज, भगत सिंह का समाजवाद तथा अंबेडकर का संविधान कब मिलेगा?

विधायिका एवं कार्यपालिका के सदस्य हमें कब तक लूटते रहेंगे? हमें बताइए इसलिए कि आप गण मुखिया हैं. यदि सब कुछ ऐसा ही चलता रहा तो आने वाले 15 अगस्त को संसद पर सत्याग्रह करूंगा.

बताते चलें कि पत्र के इस प्रति को इन्होनें सम्माननीय सर्वोच्च न्यायालय. माननीय उपराष्ट्रपति, माननीय मानवाधिकार आयोग, माननीय स्पीकर लोकसभा

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