बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर केंद्रीय विश्विद्यालय के दलित छात्रों पर लगाए गए सवर्ण विरोधी आरोप बेबुनियाद

 

BY THE FIRE TEAM

BBAU के दलित छात्रों पर आधारहीन आरोप लगाकर उन्हें धर्म विशेष एँव संस्कृति विरोधी प्रदर्शित करने के सम्बंध में आज सिद्धार्थ बॉयज छात्रावास के समस्त दलित छात्रों ने विश्वविद्यालय प्रशासन के खिलाफ हॉस्टल के बाहर रोष दर्ज कर कुलपति, कुलसचिव, सा. कुलसचिव SC/ST सेल, DSW और प्रॉक्टर को प्रार्थना पत्र दिया है।
Photo:बसंत कनौजिया

बाबासाहेब भीमराव अंबेडकर विश्वविद्यालय, लखनऊ में आज दिनाँक 05 अक्टूबर 2018 को नवभारत टाईम्स पेपर के मुख्यपृष्ठ पर महोदय आपके बयान को आधार बनाकर खबर छपी है कि सिद्धार्थ छात्रावास में सवर्ण छात्रों को पूजा करने से दलित समाज के छात्रों द्वारा रोका गया है ।

यह आरोप तथ्यहीन एवं निराधार है। महोदय आपके इस वक्तव्य से विश्वविद्यालय परिसर में अध्ययनरत सभी वर्ग के छात्रों का आपसी प्रेम-सौहार्द बिगड़ रहा है। जिससे विश्वविद्यालय परिसर में अनावश्यक कटुता उत्तप्न्न हो रही है।

तथा इस खबर की वजह से दलित समाज के छात्रों पर विशेष धर्म संस्कृति विरोधी होने का बड़े स्तर पर व्यंग्य कसा जा रहा है जिससे दलित समाज के छात्र अवसादग्रस्त हैं। तथा खुद को अपमानित महसूस कर रहे हैं।

महोदय आपको सादर अवगत कराना है कि दलित समाज भी विशेष धर्म संस्कृति का अभिन्न अंग है या यह कहना भी अतिश्योक्ति नहीं होगा कि दलित समाज हिन्दू धर्म का सबसे मजबूत आधार है जिसके बगैर विशेष धर्म की कल्पना भी नहीं की जा सकती।

दूसरी बात दलित समाज बाबासाहेब द्वारा रचित संविधान का अक्षरशः अनुकरण करने वाला है और वही संविधान सभी वर्ग एँव संप्रदाय के लोगों को धार्मिक आजादी देता है तो प्रश्न ही नहीं उठता है कि दलित समाज के छात्रों द्वारा पूजा का विरोध किया जाएगा।

और महोदय विश्वविद्यालय परिसर में पूर्व में ऐसे तमाम धार्मिक पूजा-पाठ जैसे सरस्वती पूजा एँव मिलन के कार्यक्रम होते आए तथा इसका मजबूत प्रमाण परिसर में शिवमंदिर स्थापित है जहाँ प्रतिदिन धार्मिक गतिविधियां होती हैं। जिससे संबंधित कहीं कोई दलित समाज के छात्रों द्वारा विरोध दर्ज नहीं हुआ है।

 

कुलपति महोदय जी से सादर अनुरोध किया है कि तथ्यहीन आरोप लगाकर दलित समाज के छात्रों का सामाजिक और धार्मिक हनन ना करें ताकि परिसर में सभी वर्ग के छात्रों के बीच आपसी -सौहार्द बना रहे तथा परिसर में शांतिपूर्ण में पठन-पाठन समस्त छात्रों/ शिक्षकों के बीच में बगैर किसी ऊँचनीच की भावनारहित चल सके।

प्रार्थी
(समस्त छात्र/छात्राएं, सिद्धार्थ बॉयज हॉस्टल, बीबीएयू, लखनऊ।)

Leave a Comment

Translate »
error: Content is protected !!