BY-THE FIRE TEAM
प्राप्त जानकारी के अनुसार मोदी सरकार ने गरीब परिवारों के हित में एक बड़ा ऐलान किया है. आपको बता दें कि अब उज्ज्वला योजना के तहत सभी गरीब परिवारों को नि:शुल्क एलपीजी कनेक्शन दिया जाएगा.
इस सम्बन्ध में आर्थिक मामलों की मंत्रिमंडलीय समिति ने यह फैसला लिया है जिसकी जानकारी पेट्रोलियम मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने दी.
प्रधान ने फैसले की जानकारी देते हुए कहा, “पीएम उज्जवला योजना के कनेक्शन से अब तक 5 लाख 86 हजार गरीब परिवारों को फायदा मिल चुका है.
कैबिनेट ने आज इस योजना को पूरे देश में समान रूप से लागू करने का निर्णय लिया है. गरीब परिवारों को बिना फॉर्म भरे केवल अब सादे कागज पर कनेक्शन मिलेगा.
इसके लिए उन्होंने सेल्फ डिक्लेयरेशन देना होगा. इस कदम का प्रयास इस योजना को सौ फीसदी गरीब परिवारों को लाभ प्रदान प्रदान करना है.
Thank the #CCEA chaired by Hon. PM Shri @narendramodi ji for approving to expand the scope of #PMUY to cover poor families not having LPG connections & not covered under the existing beneficiary categories. The step will further increase the penetration of LPG to 100% households. pic.twitter.com/wJwvWP5b9w
— Dharmendra Pradhan (@dpradhanbjp) December 17, 2018
पीएम मोदी ने इस स्कीम को 2016 में शुरू किया था तब इसका उद्देश्य गरीबी रेखा से नीचे जीवनयापन करने वाले परिवारों की महिलाओं को नि:शुल्क गैस कनेक्शन प्रदान करना था.
अब सरकार ने इस योजना के तहत सभी गरीब परिवारों को शामिल करने का फैसला किया है.
उज्ज्वला योजना :
भारत सरकार द्वारा शुरू की गयी एक बहुत ही महत्त्वाकांक्षी योजना है। उज्ज्वला योजना के अंतर्गत भारत सरकार एलपीजी कनेक्शन उपलब्ध कराएगी।
एलपीजी कनेक्शन केवल गरीबी रेखा से नीचे के परिवारों से सम्बंधित महिलाओं को दिया जाएगा। योजना का मुख्य उद्देश्य पूरे भारत में स्वच्छ ईंधन के उपयोग,
को बढ़ावा देना है जो कि मुफ्त में एलपीजी कनेक्शन वितरित करके पूरा किया जा सकता है। योजना के लागू करने का अन्य उद्देश्य महिला सशक्तिकरण को बढ़ावा और महिलाओं के स्वास्थ्य सुरक्षा करना है।
वर्तमान में उपयोग में आने वाले अशुद्ध जीवाश्म ईंधन के उपयोग को कम करना और शुद्ध ईंधन के उपयोग को बढाकर प्रदुषण में कमी लाना भी योजना के प्रमुख लक्ष्यों में से एक है।
उज्ज्वला योजना के लागू होने के बाद, जो बीमारियाँ खाना बनाने के लिए उपयोग में आने वाले अशुद्ध जीवाश्म ईंधन के जलने से होती हैं,
उनमें भी कमी आने की सम्भावना है। इस प्रकार यह योजना महिलाओं और बच्चों को स्वस्थ रखने में भी सहायक सिद्ध होगी।