BY- THE FIRE TEAM
उत्तर प्रदेश में विपक्षी गठबंधन के लिए प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी का संक्षिप्त परिचय ‘सराब‘ जिसे मेरठ में अपनी चुनावी रैली में प्रयोग किया।
“सपा (समाजवादी पार्टी) का ‘सा’, रालोद का ‘रा’ और बसपा (बसपा) का ‘बा’, मतलब ‘सराब’।” पीएम नरेंद्र मोदी ने एक बड़ी जन सभा को कहा। उन्होंने अगले महीने के राष्ट्रीय चुनाव के लिए उत्तर प्रदेश में अपना अभियान शुरू किया है।
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, “यूपी के अच्छे स्वास्थ्य और भारत के भविष्य के लिए, क्या आपको सराब से दूर नहीं रहना चाहिए ? सपा, रालोद, बसपा, ये ‘सराब’ आपको बर्बाद कर देगी।”
बमुश्किल उन्होंने यह बोलकर समाप्त किया कि कांग्रेस ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित किया, जिसमें टिप्पणी की गई थी और पीएम मोदी पर तीन राजनीतिक दलों को शराब से तुलना करना शर्मनाक ओर बेहद ही घटिया एवं निंदनीय बताया गया।
कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने कहा, “क्या इस तरह की बात प्रधानमंत्री करते है ? आप तीन राजनीतिक दलों को शराब कह रहे हैं। क्या इसी तरह से पीएम बातचीत करते हैं ? क्या जनता इसे स्वीकार कर सकती है ?”
सुरजेवाला ने आगे कहा, “अपने शब्दों को वापस लें और 130 करोड़ लोगों से माफी मांगें वरना राष्ट्र और उत्तर प्रदेश आपको कभी माफ नहीं करेंगा।”
समाजवादी पार्टी के प्रमुख अखिलेश यादव ने ट्वीट करते हुए कहा, “आज टेली-प्रॉम्प्टर ने यह पोल खोल दी कि सराब और शराब का अंतर वह लोग नहीं जानते जो नफ़रत के नशे को बढ़ावा देते हैं। सराब को मृगतृष्णा भी कहते हैं और यह वह धुंधला सा सपना है जो भाजपा 5 साल से दिखा रही है लेकिन जो कभी हासिल नहीं होता। अब जब नया चुनाव आ गया तो वह नया सराब दिखा रहे हैं।”
आज टेली-प्रॉम्प्टर ने यह पोल खोल दी कि सराब और शराब का अंतर वह लोग नहीं जानते जो नफ़रत के नशे को बढ़ावा देते हैं
सराब को मृगतृष्णा भी कहते हैं और यह वह धुंधला सा सपना है जो भाजपा 5 साल से दिखा रही है लेकिन जो कभी हासिल नहीं होता। अब जब नया चुनाव आ गया तो वह नया सराब दिखा रहे हैं
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) March 28, 2019