BY-THE FIRE TEAM
देश में विगत दिनों से मॉब लिंचिंग की जैसी घटनाएँ घट रही हैं वह कानून वयवस्था के लिए चुनौती तो हैं ही उससे बड़ी चीज भीड़ द्वारा कानून को हाथ में लेना है.
सरकार और प्रशासन के नजरिए से देखा जाये तो कोई ऐसा मजबूत स्टैंड नहीं लिया जाना और भी चिंता का विषय है. झारखंड से लेकर बिहार, राजस्थान और भी कई ऐसे राज्य हैं जहाँ घटित होने वाली घटनाओं का संज्ञान लेते हुए
49 से अधिक चर्चित हस्तियों-जैसे अभिनेत्री कंगना राणावत, गीतकार प्रशून जोशी, मधुर भंडारकर, नृत्यांगना सोनल मानसिंह सहित श्याम बेनेगल आदि ने सीधे प्रधानमंत्री को खत लिखा.
ताकि इस तरह की घटनाओं के विरुद्ध कोई ठोस कदम उठायें किन्तु अभी तक किसी सकारात्मक परिणाम की ओर नहीं पहुँचा जा सका है.
इसके विपरीत इन हस्तियों के विरुद्ध ही बिहार में याचिका दाखिल कर दी गई है, मिली सूचना के मुताबिक एक अधिवक्ता ने भारतीय दंड संहिता की विभिन्न धाराओं के अंतर्गत
मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट की अदालत के समक्ष यह याचिका डाली है. इस संबंध में पीटीआई की रिपोर्ट का संदर्भ लिया जा सकता है. याचिकाकर्ता सुधीर कुमार ओझा ने इन 49 हस्तियों पर आरोप लगाते हुए कहा कि-
इनके द्वारा प्रधानमंत्री को पत्र लिखने से देश की छवि धूमिल हुई है. इनकी गतिविधियों से अलगाववादी प्रवृतियों को समर्थन मिल रहा है जो अंततः एक खतरनाक संकेत है.