देश में आयी कोरोनावायरस संक्रमण की दूसरी लहर से मचे तांडव को देखकर सर्वोच्च न्यायालय ने राज्य सरकारों को हिदायत दिया है कि संपूर्ण तालाबंदी लागू करने के लिए ठीक ढंग से विचार करें.
अगर देखा जाए तो देश में सड़क से लेकर हॉस्पिटल तक कोरोना मरीजों की संख्या में भारी वृद्धि हो रही है और बड़ी संख्या में मरीज मृत्यु का शिकार भी हो रहे हैं.
सुप्रीमकोर्ट का केंद्र और राज्य सरकारों को निर्देश, Lockdown पर विचार करें सरकारें#SupremeCourt #lockdown pic.twitter.com/JwxtQSP6ZI
— News24 (@news24tvchannel) May 3, 2021
इसकी बड़ी वजह अस्पतालों में मरीजों की जरूरतों के मुताबिक ऑक्सीजन, वेंटिलेटर्स, बेड, चिकिस्तक, पीपीई किट, वैक्सीनेशन आदि की भारी किल्लत है.
इसके अतिरिक्त चुंकि गैर संगठित क्षेत्र में कार्य करने वाले लोगों की संख्या अधिक है, यदि ऐसे में संपूर्ण लॉकडाउन लगा तो यह वर्ग पुनः भूखमरी का शिकार हो जाएगा.
ऐसे में राज्य सरकारों को जनता की भलाई को देखते हुए ठीक ढंग से विचार करने की आवश्यकता है, खास करके कमजोर वर्ग की सुरक्षा(भोजन, पानी, दवाइयां) का ध्यान रखना अत्यधिक जरूरी है.
आपको यहां बता दें कि पिछले वर्ष अव्यवस्थित तथा और नियोजित तालाबंदी के कारण लाखों की संख्या में प्रवासी मजदूरों के समक्ष रोजी-रोटी का संकट पैदा हो गया था
जिसके कारण उन्हें हजारों मील की यात्रा पैदल ही चल कर तय करने के लिए विवश होना पड़ा. इस यात्रा में कई लोगों की भूख के कारण मृत्यु तक हो गई.